manrega yojna in hindi : केंद्र सरकार ने एक ऐसी योजना लाई है जिसके तहत लाभार्थियों को निशुल्क जॉब्स दिए जाता है। अर्थात देश के गरीब परिवारों की आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए, भारत सरकार ने मनरेगा योजना शुरू किया है। जिसके तहत गांव के परिवार को अपने ही पंचायत में रोजगार दिया जायेगा. यह योजना देश के सभी राज्यों में लागू है. आप भी अपने पंचायत में रोजगार प्राप्त करना चाहते है। तो लेख को लास्ट तक देखे।
आपकी जानकारी के लिए बता दूं कि केंद्र सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रीय लोगों के लिए यह अधिकार लाई है जिसके तहत गांव के व्यक्ति दूसरे राज्य जाने की जरूरत नहीं है वह अपने ही पंचायत में कार्य कर सकते हैं। इस योजना का शुरुआत 2005 में किया गया था. वर्तमान में, देश के करोड़ व्यक्ति जुड़ चुके हैं इस योजना के तहत लाभार्थी को 100 दोनों का रोजगार दिया जाता है।
मनरेगा क्या है?
मनरेगा, महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, भारत सरकार द्वारा 2005 में शुरू किया गया एक कार्यक्रम है। यह दुनिया का सबसे बड़ा सार्वजनिक कार्य कार्यक्रम है, जो ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबों को आजीविका सुरक्षा प्रदान करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
मनरेगा के तहत, प्रत्येक ग्रामीण परिवार के वयस्क सदस्य को प्रति वर्ष कम से कम 100 दिनों के अकुशल मैनुअल कार्य की गारंटी दी जाती है। मजदूरी न्यूनतम मजदूरी दरों पर भुगतान की जाती है, जो राज्य से राज्य में भिन्न होती है।
मनरेगा योजना में कौन कौन से काम आते हैं?
- जल संरक्षण और संचयन
- सूखा राहत
- बाढ़ नियंत्रण
- ग्रामीण संपर्क
- भूमि विकास
- वनीकरण
मनरेगा लाभ के लिए कौन पात्र है?
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- एक भारतीय नागरिक होनी चाहिए।
- उसकी उम्र 18 साल से अधिक होनी चाहिए
- मनरेगा कार्ड होना चाहिए।
मनरेगा कार्यक्रम के लाभ?
- गरीबी में कमी
- रोजगार सृजन
- आजीविका सुरक्षा
- ग्रामीण विकास
- पर्यावरण संरक्षण
मनरेगा कार्यक्रम को ग्रामीण गरीबी को काम करने और ग्रामीण क्षेत्रों में विकास को बढ़ावा देने में एक सफलता के रूप में देखा गया है।
मनरेगा का उद्देश्य क्या है?
- ग्रामीण विकास: मनरेगा ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे के विकास को बढ़ावा देता है। यह सड़कों, नहरों, तालाबों और अन्य सार्वजनिक सुविधाओं के निर्माण में मदद करता है। यह ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन स्तर को बेहतर बनाने में मदद करता है।
- सामाजिक समावेश: मनरेगा महिलाओं, अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के सदस्यों और अन्य वंचित समूहों के लिए विशेष प्रावधान करता है। यह उन्हें रोजगार के अवसरों तक समान पहुंच प्रदान करता है और उन्हें सामाजिक रूप से सशक्त बनाने में मदद करता है।
- रोजगार सृजन: मनरेगा ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबों को रोजगार के अवसर प्रदान करता है। यह उन्हें अपनी आजीविका अर्जित करने और अपनी गरीबी को कम करने में मदद करता है।
- आजीविका सुरक्षा: मनरेगा ग्रामीण परिवारों को भोजन, आश्रय और शिक्षा जैसी बुनियादी आवश्यकताओं को पूरा करने में मदद करता है। यह उन्हें एक स्थायी आजीविका प्रदान करता है और उन्हें गरीबी के चक्र से बाहर निकलने में मदद करता है।
- पर्यावरण संरक्षण: मनरेगा पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देता है। यह जल संरक्षण, वनीकरण और भूमि विकास जैसे कार्यों को प्रोत्साहित करता है। यह ग्रामीण क्षेत्रों में पर्यावरण को बेहतर बनाने में मदद करता है।
मनरेगा जॉब कार्ड कैसे प्राप्त करें?
यदि आप भी मनरेगा में काम करना चाहते हैं तो इसके लिए एक कार्ड की आवश्यकता होती है जिसका नाम है मनरेगा जॉब कार्ड, अगर आपके पास है तो ठीक है अगर नहीं है तो आप बनवा सकते हैं।
- पंजीकरण: मनरेगा जॉब कार्ड प्राप्त करने के लिए, आपको अपने गाँव की ग्राम पंचायत में पंजीकरण कराना होगा।
- आवेदन पत्र: आपको पंजीकरण के लिए एक आवेदन पत्र भरना होगा।
- आवश्यक दस्तावेज: आपको पंजीकरण के लिए कुछ आवश्यक दस्तावेज जमा करने होंगे, जैसे कि आधार कार्ड, पते का प्रमाण, आदि।
- सत्यापन: आपके आवेदन पत्र और दस्तावेजों का सत्यापन ग्राम पंचायत द्वारा किया जाएगा।
- जॉब कार्ड जारी करना: सत्यापन के बाद, आपको ग्राम पंचायत द्वारा मनरेगा जॉब कार्ड जारी किया जाएगा।
अंतिम बात :-
उम्मीद करते हैं आज का यह लेख आपके लिए महत्वपूर्ण रहा हूं. आप जान पाए कि मनरेगा क्या है और इसका उद्देश्य क्या है तथा मनरेगा जॉब कार्ड कैसे बनता है. इसके अलावा काम कैसे मिलेगा और कितने दिनों के लिए मिलेगा तथा कितना रुपया मिलता है। उन सभी सवालों का जवाब जान पाए।
उम्मीद है कि इस लेख को, यहां तक पढ़ रहे हैं तो आप अच्छी जानकारी प्राप्त कर चुके हैं। आपसे रिक्वेस्ट है कि इस लेख को अपने गांव के सभी व्यक्तियों के साथ शेयर करें ताकि उन्हें भी पता चल पाए की आखिर मनरेगा क्या है और इसका उद्देश्य क्या है।
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